Ganesh Bhajan Lyrics – गणेश जी के 7 लोकप्रिय भजन लिरिक्स इस ब्लॉग में हिंदी में लिखे गए “Ganesh Bhajan Lyrics In Hindi” आपके समक्ष प्रस्तुत हैं। ये गणेश भजन लिरिक्स आपके मन में भगवान गणेश के प्रति भक्ति भाव को जागृत करने का माध्यम हैं और इन Ganpati bhajan lyrics द्वारा आप स्वयं को गणेश जी के निकट महसूस करेंगे ।
जय गणेश जय गणेश देवा लिरिक्स-Jay Ganesh Jay Ganesh Deva Lyrics
जय गणेश जय गणेश,
जय गणेश देवा ।
माता जाकी पार्वती,
पिता महादेवा ॥
एक दंत दयावंत,
चार भुजा धारी ।
माथे सिंदूर सोहे,
मूसे की सवारी ॥
जय गणेश जय गणेश,
जय गणेश देवा ।
माता जाकी पार्वती,
पिता महादेवा ॥
पान चढ़े फल चढ़े,
और चढ़े मेवा ।
लड्डुअन का भोग लगे,
संत करें सेवा ॥
जय गणेश जय गणेश,
जय गणेश देवा ।
माता जाकी पार्वती,
पिता महादेवा ॥
अंधन को आंख देत,
कोढ़िन को काया ।
बांझन को पुत्र देत,
निर्धन को माया ॥
जय गणेश जय गणेश,
जय गणेश देवा ।
माता जाकी पार्वती,
पिता महादेवा ॥
‘सूर’ श्याम शरण आए,
सफल कीजे सेवा ।
माता जाकी पार्वती,
पिता महादेवा ॥
जय गणेश जय गणेश,
जय गणेश देवा ।
माता जाकी पार्वती,
पिता महादेवा ॥
दीनन की लाज रखो,
शंभु सुतकारी ।
कामना को पूर्ण करो,
जाऊं बलिहारी ॥
जय गणेश जय गणेश,
जय गणेश देवा ।
माता जाकी पार्वती,
पिता महादेवा ॥
मेरे बन जाए बिगड़े काम गजानन तेरे आने से लिरिक्स | Mere Ban Jaye Bigde Kaam Gajanan Tere Aane Se Lyrics
मेरे बन जाएं बिगड़े काम,
गजानन तेरे आने से,
आने से तेरे आने से,
मेरे बन जाएं बिगड़े काम,
गजानन तेरे आने से ॥
मेरी बगिया देवा सूनी पड़ी हैं,
मेरी बगिया ने खिल जाएं फूल,
गजानन तेरे आने से,
मेरे बन जाएं बिगड़े काम,
गजानन तेरे आने से ॥
मेरी गलियां देवा सूनी पड़ी हैं,
मेरी गलियों में मच जाए धूम,
गजानन तेरे आने से,
मेरे बन जाएं बिगड़े काम,
गजानन तेरे आने से ॥
मेरा अंगना देवा सूना पड़ा है,
मेरे अंगना में आए बहार,
गजानन तेरे आने से,
मेरे बन जाएं बिगड़े काम,
गजानन तेरे आने से ॥
मेरा मंदिर देवा सूना पड़ा है,
मेरे मंदिर में जल जाए ज्योत,
गजानन तेरे आने से,
मेरे बन जाएं बिगड़े काम,
गजानन तेरे आने से ॥
सुखकर्ता दुखहर्ता वार्ता विघ्नाची लिरिक्स, Sukh Karta Dukh Harta Vighnachi Lyrics
सुखकर्ता दुखहर्ता वार्ता विघ्नाची,
नुरवी पूर्वी प्रेम कृपा जयाची,
सर्वांगी सुंदर उटी शेंदुराची,
कंठी झळके माळ मुक्ताफळाची,
जय देव जय देव जय मंगलमूर्ती,
दर्शनमात्रे मन कामना पुरती,
जय देव जय देव ॥
रत्नखचित फरा तूज गौरीकुमरा,
चंदनाची उटी कुंकुमकेशरा,
हिरे जडित मुकुट शोभतो बरा,
रुणझुणती नुपुरे चरणी घागरिया,
जय देव जय देव जय मंगलमूर्ती,
दर्शनमात्रे मनकामना पुरती,
जय देव जय देव ॥
लंबोदर पितांबर फनी वरवंदना,
सरळ सोंड वक्रतुंड त्रिनयना,
दास रामाचा वाट पाहे सदना,
संकटी पावावे निर्वाणी रक्षावे सुरवंदना,
जय देव जय देव जय मंगलमूर्ती,
दर्शनमात्रे मनकामना पुरती,
जय देव जय देव ॥
शेंदुर लाल चढ़ायो अच्छा गजमुखको,
दोंदिल लाल बिराजे सुत गौरिहरको,
हाथ लिए गुडलद्दु सांई सुरवरको,
महिमा कहे न जाय लागत हूं पदको,
जय जय जी गणराज विद्या सुखदाता,
धन्य तुम्हारा दर्शन मेरा मन रमता,
जय देव जय देव ॥
अष्टौ सिद्धि दासी संकट को बैरि,
विघ्नविनाशन मंगल मूरत अधिकारी,
कोटीसूरजप्रकाश ऐसी छबि तेरी,
गंडस्थलमदमस्तक झूले शशि गहरी,
जय जय जी गणराज विद्या सुखदाता,
धन्य तुम्हारा दर्शन मेरा मन रमता,
जय देव जय देव ॥
भावभगत से कोई शरणागत आवे,
संतत संपत सबही भरपूर पावे,
ऐसे तुम महाराज मोको अति भावे,
गोसावीनंदन निशिदिन गुण गावे,
जय जय जी गणराज विद्या सुखदाता,
धन्य तुम्हारा दर्शन मेरा मन रमता,
जय देव जय देव ॥
सुखकर्ता दुखहर्ता वार्ता विघ्नाची,
नुरवी पूर्वी प्रेम कृपा जयाची,
सर्वांगी सुंदर उटी शेंदुराची,
कंठी झळके माळ मुक्ताफळाची,
जय देव जय देव जय मंगलमूर्ती,
दर्शनमात्रे मन कामना पुरती,
जय देव जय देव ॥
गजानंद महाराज पधारो कीर्तन की तैयारी है लिरिक्स | Gajanand Maharaj Padharo Kirtan Ki Taiyari Hai Lyrics
गजानंद महाराज पधारो,
कीर्तन की तैयारी है।
तर्ज – फुल तुम्हे भेजा है ख़त मे।
– श्लोक –
प्रथम मनाये गणेश के,
ध्याऊ शारदा मात,
मात पिता गुरु प्रभु चरण मे,
नित्य नमाऊ माथ।
गजानंद महाराज पधारो,
कीर्तन की तैयारी है,
आओ आओ बेगा आओ,
चाव दरस को भारी है ॥
थे आवो ज़द काम बणेला,
था पर म्हारी बाजी है,
रणत भंवर गढ़ वाला सुणलो,
चिन्ता म्हाने लागि है,
देर करो मत ना तरसाओ,
चरणा अरज ये म्हारी है,
गजानन्द महाराज पधारो ॥
रीद्धी सिद्धी संग आओ विनायक,
देवों दरस थारा भगता ने,
भोग लगावा ढोक लगावा,
पुष्प चढ़ावा चरणा मे,
गजानंद थारा हाथा मे,
अब तो लाज हमारी है,
गजानन्द महाराज पधारो ॥
भगता की तो विनती सुनली,
शिव सूत प्यारो आयो है,
जय जयकार करो गणपति की,
म्हारो मन हर्शायो है,
बरसेंगा अब रस कीर्तन मे,
भगतौ महिमा भारी है,
गजानन्द महाराज पधारो ॥
गजानंद महाराज पधारों,
कीर्तन की तैयारी है,
आओ आओ बेगा आओ,
चाव दरस को भारी है ॥
मेरे लाडले गणेश प्यारे प्यारे लिरिक्स, Mere Ladle Ganesh Pyare Pyare Lyrics
ओ मेरे लाड़ले गणेश प्यारे प्यारे,
श्लोक – विघ्नेश्वराय वरदाय सुरप्रियाय,
लम्बोदराय सकलाय जगत हिताय,
नागाननाय श्रुतियज्ञभूषिताय,
गौरीसुताय गणनाथ नमो नमस्ते ॥
तर्ज – तेरे होंठों के दो फूल प्यारे प्यारे।
ओ मेरे लाड़ले गणेश प्यारे प्यारे,
भोले बाबा जी की आँखों के तारे,
देवा सभा बीच में आ जाना_आ जाना,
मेरे लाड़ले गणेश प्यारे प्यारे ॥
तेरी काया कँचन कँचन,
किरणों का है जिसमे बसेरा,
बाबा सूंड-सुंडाली मूरत,
तेरी आँखों मे खुशियों का डेरा,
तेरी महिमा अपरंपार, तुमको पूजे ये संसार,
प्रभु अमृत रस बरसा जाना_आ जाना,
मेरे लाड़ले गणेश प्यारे प्यारे ॥
देवा भजन तुम्हारे गायें,
सबसे पहले हम तुमको मनायें,
धुप दीपो की ज्योति जलायें,
मन-मंदिर मे झांकी सजायें,
मेरे बाबा गणराज, दे दो भक्ति का तुम दान,
प्रभु नैया पार लगा जाना_आ जाना,
मेरे लाडले गणेश प्यारे प्यारे ॥
मेरे विघ्न विनाशक देवा,
सबसे पहले करें तेरी सेवा,
सारे जग मे है आनंद छाया,
बोलो जय-जय गजानंद देवा,
बाजे सुर और ताल, तेरा गुण गाये संसार
घुँघरु की खनक खनका जाना_आ जाना,
मेरे लाडले गणेश प्यारे प्यारे ॥
मेरे लाड़ले गणेश प्यारे प्यारे,
भोले बाबा जी की आँखों के तारे,
देवा सभा बीच में आ जाना_आ जाना,
मेरे लाड़ले गणेश प्यारे प्यारे ॥
घर में पधारो गजाननजी मेरे घर में पधारो लिरिक्स, Ghar Mein Padharo Gajanan Ji Mere Ghar Mein Padharo Lyrics
घर में पधारो गजाननजी, मेरे घर में पधारो
रिद्धि सिद्धि लेके आओ गणराजा, मेरे घर में पधारो ।
राम जी आना, लक्ष्मण जी आना
संग में लाना सीता मैया, मेरे घर में पधारो ॥
ब्रम्हा जी आना, विष्णु जी आना
भोले शशंकर जी को ले आना, मेरे घर में पधारो ॥
लक्ष्मी जी आना, गौरी जी आना
सरस्वती मैया को ले आना, मेरे घर में पधारो ॥
विघन को हारना, मंगल करना,
कारज शुभ कर जाना, मेरे घर में पधारो ॥
घर में पधारो गजाननजी, मेरे घर में पधारो
रिद्धि सिद्धि लेके आओ गणराजा, मेरे घर में पधारो ।
गणनायक महाराज को प्रथम करा आहवान लिरिक्स, Gannayak Maharaj Ko Pratham Kara Avahan Lyrics
तर्ज :- देना हो दीजिये
गणनायक महाराज को प्रथम करा आहवान,
म्हारा कारज सफल बनादो, थारो ऊँचो स्थान ॥
शिवयोगी का पुत्र लाड़ला, पार्वती का प्यारा हो,
एक दन्त गजवदन विनायक, सब देवां स न्यारा हो,
आ जाओ दूंद दुंदाला, म्हे करां थारा गुणगान ॥
ऋषि मुनि और देवी देवता, करै बड़ाई थारी जी,
ऋद्धि सिद्धि शुभ लाभ के दाता, थे सबका हितकारी जी,
सब शुभ कामां म देवा, होव थारो सम्मान ॥
थान्न प्रथम मनाय करां हाँ, म्हे किर्तन को शुभ आरम्भ,
देरी मतना करो दयालू, अब आ जाओ थे अविलम्ब,
संग देवी देवता ल्याज्यो, थारी सब स पहचान ॥
“सेवक मण्डल” का सब टाबरिया, हर्ष हर्ष गुण गाव है,
“बिन्नू” भी भगतां क सागै, जय जयकार लगाव है,
किर्तन में रंग जमाज्यो, मानांगा म्हें एहसान ॥